Maharashtra CM के शपथ ग्रहण समारोह मेंमें 103 किसानों को वक्फ बोर्ड का नोटिस
Maharashtra:300 एकड़ जमीन पर दावा किया; किसान बोले- वक्फ हमारे पुश्तैनी खेत हड़पना चाहता
Maharashtra किसानों ने शनिवार को आरोप लगाया है कि राज्य वक्फ बोर्ड उनकी जमीन पर कब्जा करने की कोशिश कर रहा है। दरअसल, करीब 300 एकड़ जमीन पर दावे का मामला महाराष्ट्र स्टेट वक्फ ट्रिब्यूनल में चल रहा है। इस संबंध में बोर्ड ने लातूर के 103 किसानों को नोटिस भेजा है। मामलें में दो सुनवाई हो चुकी हैं। अगली सुनवाई 20 दिसंबर को होनी है।
वक्फ बोर्ड इस्लामी कानून के तहत धार्मिक उद्देश्य से दान की गई चल-अचल संपत्तियों की देखरेख के लिए कानूनी तौर पर एक संस्था है। संसद ने 1954 में वक्फ के लिए कानून बनाया था। इनके पास किसी जमीन या संपत्ति को लेने और दूसरों के नाम पर ट्रांसफर करने का कानूनी अधिकार है
इस पर किसानों ने दावा किया है कि यह वक्फ की संपत्ति नहीं है, उनकी पुश्तैनी जमीन है। वे पीढ़ियों से इस पर खेती करते आ रहे हैं। किसानों ने महाराष्ट्र सरकार से न्याय दिलाने की अपील की है।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक राज्य वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष समीर काजी ने इससे इनकार किया है। उन्होंने मीडिया को बताया कि बोर्ड की तरफ से किसी को नोटिस नहीं भेजा गया है। किसी जमीन पर दावा भी नहीं किया गया है। एक व्यक्ति ने ट्रिब्यूनल में अपील की है, सिर्फ उसे नोटिस भेजा गया है।
मोदी सरकार वक्फ बोर्ड एक्ट में करीब 40 बदलाव करना चाहती है। इसी साल मानसून सत्र में 8 अगस्त को लोकसभा में वक्फ बिल पेश किया था। कांग्रेस समेत कई विपक्षी दलों ने इसे मुस्लिम विरोधी बताया था। विपक्ष की आपत्ति और विरोध के बाद ये बिल लोकसभा में बिना किसी चर्चा के जॉइंट पार्लियामेंट्री कमेटी (JPC) को भेज दिया गया।
इसकी अध्यक्षता भाजपा सांसद जगदंबिका पाल कर रहे हैं। JPC में 31 सदस्य हैं, जिसमें लोकसभा से 21 और राज्यसभा से 10 मेंबर हैं। JPC को सभी हितधारकों से चर्चा कर रिपोर्ट तैयार करनी है, जिसे शीतकालीन सत्र में पेश करने को कहना गया था।
JPC की 8 बैठक हो चुकी हैं। 8वीं बैठक में 28 नवंबर को JPC का कार्यकाल बढ़ाने का फैसला किया गया। इसके बाद JPC की रिपोर्ट 2025 के बजट सत्र के अंतिम दिन तक पेश करने की बात कही गई है।
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